इस शहर में घर की दीवारों पर लोग क्यों लिख रहे हैं ‘नेकी की दीवार, जानें क्या है इसका मकसद




कहते हैं, अच्छा करने के लिए आपको कुछ बड़ा करने की जरुरत नहीं है। आप रोजाना की छोटी-छोटी चीजों से भी लोगों की मदद कर सकते हैं। कुछ ऐसा ही नजारा देखने को मिल रहा है रायपुर शहर की दीवारों पर, जहां लोग अपने घर की दीवारों पर ‘नेकी की दीवार’ लिख रहे हैं। छत्तीसगढ़ के रायपुर में निगम की ओर से एक पहल की गई है। वहां एक दीवार को ‘नेकी की दीवार’नाम दिया गया है। इसका उद्देश्या है कि जिसके पास ज्यादा है, वो देकर जाए। निगम की पहल को मिला जनता का साथ रायपुर निगम की इस पहल के तहत शहर में कई दीवारों को आकर्षक अंदाज में पेंट किया गया है। इन पर ‘नेकी की दीवार’ लिखा है। साथ में स्लोगन भी। 


नेकी की दीवार के साथ जुड़कर कैसे कर सकते हैं मदद 
सबसे खास बात यह है कि दीवारें समाज को जोड़ने का काम कर रही हैं। लोग यहां खुद ही आते हैं और उनके पास जो भी अनुपयोगी सामान है, उसे छोड़ जाते हैं। जिनको इनकी जरूरत है, वह वहां से सामान लेकर चले जाते हैं। 

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लोगों ने नेकी की दीवार बनाने की खुद की पहल 

लोगों ने खुद भी ऐसी दीवारोंं की शुरुआत की है। मुुुुुहिम की शुरुआत में यहांं इन दीवारों के पास पहनने, ओढ़ने, बिछाने के कपड़े ज्यादा रखे मिलते थे लेकिन अब वहां किताबें, खिलौने, बर्तन, दवाइयां, क्रॉकरी और यहां तक कि फर्नीचर भी रखे हुए मिल जाते हैं। अच्छी बात यह भी है कि अब शहर में किसी गरीब या जरूरतमंद को इन सामानों के लिए हाथ नहीं फैलाना पड़ता है। एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, सबसे पहले रायपुर के गांधी उद्यान से इसकी शुरुआत हुई थी। वहां एक ‘नेकी की दीवार’ बनाई गई। शहर में चर्चा शुरू हुई, तो लोगों ने खुद के प्रयास से भी अपने इलाकों में ऐसी दीवारें बनानी शुरू कर दीं। स्थानीय लोग खुद इसमें बढ़-चढ़कर हिस्सा, ले रहे हैं। लोगों में मदद की भावना का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि जो लोग नेकी की दीवार की पहुंच से दूर है, वो इसे सामान निगम की गाड़ी में रखवा सकते हैं।

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